Friday, December 24, 2010

सदस्यता हेतु आमंत्रित

नूंण प्रणाम, 
नववर्ष २०११ के आगमन के अवसर पर  संगठन की तरफ से तहेदिल से हार्दिक शुभकामनायें I सर्वप्रथम संगठन परिवार अखिल भारतीय बिश्नोई महासभा और इसके कर्मठ पदाधिकारियों एव संत समाज का तहेदिल से आभार व्यक्त करता है,  जिन्होंने बिश्नोई युवा संगठन की सन्देश एवं  नियमावली पत्रिका के प्रकाशन एवं विमोचन में संगठन के  युवा वर्ग को मार्गदर्शित किया और हर संभव मदद की I श्री गुरु जम्भेश्वर भगवान के विचारों से प्रेरणा लेकर समाज के शिक्षित, विचारशील, समर्पित एवं उत्साही युवाओं द्वारा अखिल भारतीय बिश्नोई युवा संगठन की स्थापना की गई। संगठन का उद्देश्य शिक्षा, चिकित्सा सेवा, वन्यजीव व पर्यावरण संरक्षण, गरीबी-उन्मूलन, जन चेतना, नशामुक्ति, समाज सेवा, समाज के उन तमाम प्रतिभाओं को एक पहचान दिलाना है। इन्हीं सभी विषयों पर सोचते हुए समाज में राष्ट्रीय स्तर पर एक बड़े युवा संगठन की जरूरत को महसूस करते हुए समाज के शिक्षित एवं कर्मठ युवाओं द्वारा दिन रात अथक प्रयासों से अखिल भारतीय बिश्नोई युवा संगठन का गठन हुआ। सम्पर्क, सहयोग, संस्कार, सेवा और समर्पण ये पांच ध्येयपूर्ण प्रेरक तत्व इसके अविभाज्य अंग बन गए हैं।
11 जुलाई 2010 को मुख्य अतिथि श्रीमान् के.एल. बिश्नोई (वरिष्ठ आईपीएस अधिकारी, महाराष्ट्र मानवाधिकार आयोग) के हाथों से संगठन की मुम्बर्ठ शाखा में उद्घाटन समारोह हुआ। इसके बाद संगठन के जुझारू एवं कर्मठ युवाओं द्वारा समाज के नवनिर्माण का बीड़ा उठाया और राष्ट्रीय स्तर पर बिश्नोई समाज के अधिक से अधिक युवाओं, समाजसेवी सज्जनों से सम्पर्क किया तथा उनकी राय जानी और संगठन के वर्तमान स्वरूप को साकार किया। जिसके अन्तर्गत संगठन के प्रमुख कार्यकर्ताओं द्वारा इन्टरनेट के द्वारा एवं व्यक्तिगतरूप से चलाई गई एक मुहिम के तहत तमाम राजनीतिज्ञ, डॉक्टर, इंजीनियर, उद्यमी, आईएएस, आईपीएस, एमबीए एवं अन्य जानी मानी हस्तियों से सम्पर्क किया गया। बिश्नोई समाज के सभी लोगों ने युवाओं द्वारा देशभर में शुरु किए गए कदम की भूरी-भूरी सराहना की एवं भारतवर्ष के अनेक युवा एवं शिक्षित लोगों ने अपनी रूचि संगठन से जुड़कर एक सच्चे कार्यकर्ता की तरह समाजसेवा और राष्ट्रसेवा में प्रदर्शित की। संगठन के द्वारा शहीद गणपतराम बिश्नोई भींयासर फलोदी की स्मृति में बॉम्बे हॉस्पीटल के साथ मिलकर रक्तदान शिविर का सफल आयोजन किया गया। मुम्बई के समीप घटित बस दुर्घटना में समाज के प्रबुद्ध सज्जनों के सहयोग से संगठन के कार्यकर्ताओं ने घायलों को अस्पताल पंहुचाया व मेडिकल हॉस्पीटल खर्च के लिए सहायता की, जो बिश्नोई युवाओं द्वारा किया गया समाजसेवा का एक प्रशंसनीय प्रयास है। गुरु महाराज के नियमों की महत्ता को आत्मसात करने के लिए सम्पूर्ण जनचेतना का संचार करना है। संगठन इस कड़ी में प्रत्येक युवा एवं प्रत्येक क्षेत्र जहां बिश्नोई समुदाय निवास करता है, से जुड़कर एक नई सोच के साथ युवा शक्ति का विकास करना चाहता है, ताकि हम हमारे समाज एवं राष्ट्र के समक्ष एक पथप्रदर्शक बनकर प्रेरणादायी सोच रख सके। इसी के साथ हमारे संगठन के युवा एवं अनुभवी लेखक महानुभावों के द्वारा एक अत्यंत लम्बे एवं कठिन परिश्रम के बाद लिखी गई संदेश एवं नियमावली पत्रिका का विमोचन बिश्नोई समाज की स्थापना के गौरवमयी 525 वर्ष पूर्ण होने पर आयोजित रजत जयन्ती समारोह एवं अखिल भारतीय बिश्नोई महासभा के 11वें अधिवेशन में 29 अक्टूबर 2010 को युवा सम्मेलन में माननीय अतिथियों द्वारा किया गया। हमें उम्मीद है यह सम्पूर्ण पत्रिका संगठन की भावी योजनाओं एवं संगठन के मूल उ_ेश्यों को प्रभावी रूप से आपके समक्ष प्रस्तुत करने में सहायक होगी। लेकिन ये तभी सम्भव होगा जब सभी महानुभावों के आशीर्वाद के साथ साथ प्रत्येक युवा समाज के प्रति अपना कत्र्तव्य समझकर संगठन के साथ कन्धे से कन्धा मिलाकर इस पावन कार्य को लक्ष्य तक पंहुचाये। संगठन प्रत्येक बिश्नोई युवाओं को सदस्यता के लिए सादर आमंत्रित करता है, जो गौरवशाली बिश्नोई समाज के विकास में अपना यथासम्भव योगदान देना चाहते हैं। अत: आप सभी से सादर अपील है कि आप संगठन से जुड़कर बिश्नोई समाज को राष्ट्रीय ही नहीं वरन् अन्तर्राष्ट्रीय स्तर पर एक नई पहचान दिलावें।

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